सस्ता टोकन का दावा करें
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India जैसे देशों को डराने वाली है CBDC पर Mastercard एक्सपर्ट की बात

महत्वपूर्ण बिंदु
  • CBDC को अपनाने के लिए बड़े-बड़े देश कड़ी मेहनत कर रहे हैं। कुछ दिन पहले भारत में RBI ने इंटर-बैंक बोर्रोविंग के लिए एक होलसेल CBDC पायलट प्रोग्राम शुरू किया था।
  • Mastercard के एक्सपर्ट ने CBDC की वर्तमान व्यवहार्यता के बारे में संदेह व्यक्त कर दावा किया है कि CBDC को व्यापक रूप से अपनाना थोड़ा मुश्किल हो सकता है।
  • ग्लोबल इकोनॉमी के 98% का प्रतिनिधित्व करने वाले 130 देश CBDC की तलाश कर रहे हैं, जिसमें से केवल 11 ने ही पूरी तरह से डिजीटल करंसी लॉन्च की है।
17-Nov-2023 By: Deeksha
India जैसे देशों को

Mastercard के एक्सपर्ट ने CBDC पर व्यक्त किया संदेह

लेकिन CBDC को लेकर इतनी पॉजिटिविटी होने के बाद भी इस पर Mastercard के एक्सपर्ट Ashok Venkateswaran ने संदेह व्यक्त किया है। दरअसल, Mastercard के एक्सपर्ट ने वाइडस्प्रेड सेंट्रल बैंक डिजीटल करंसी (CBDC) की वर्तमान व्यवहार्यता के बारे में संदेह व्यक्त किया है, उन्होंने दावा किया है कि CBDC को व्यापक रूप से अपनाना थोड़ा मुश्किल हो सकता है। Venkateswaran ने Singapore Fintech Festival के दौरान CBDC के एक्जिक्यूशन से जुड़ी मुश्किलों और जटिलताओं पर चर्चा की है। Venkateswaran का कहना है कि CBDC को कैश की तरह ही accessible और spendable बनाने की आवश्यकता पर ध्यान देना चाहिए, नहीं तो भविष्य में यह और अधिक चुनौतियों को खड़ा कर सकती है। Venkateswaran ने यह भी कहा है कि अगर आपके वॉलेट में CBDC है, तो आपके पास उसे कैश के समान ही खर्च करने की क्षमता भी होना चाहिए। उन्होंने आगे बताया है कि CBDC को पूरी तरह से लागू करने के लिए एक सटीक इनफ्रास्ट्रक्चर की आवश्यकता होगी, जिसमें समय और निवेश दोनों शामिल होगा। 

CBDC पर India जैसे बड़े-बड़े देश कर रहे हैं कड़ी मेहनत

CBDC को अपनाने के लिए बड़े-बड़े देश कड़ी मेहनत कर रहे हैं, जिसमें India का नाम भी शामिल है। जहां एक तरफ कुछ दिन पहले भारत में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने इंटर-बैंक बोर्रोविंग के लिए एक होलसेल सेंट्रल बैंक डिजिटल करंसी (CBDC) पायलट प्रोग्राम शुरू किया था, जिसका लक्ष्य भारत में CBDC को तेजी से अपनाने का था। वहीं Switzerland के सेंट्रल बैंक ने भी CBDC पायलट प्रोग्राम को लॉन्च किया था। इसी कड़ी में Argentine ने भी CBDC कानून के लिए अपनी स्पीड को बढ़ा दिया है। हाल ही में IMF के मैनेजिंग डायरेक्टर ने कहा था कि भविष्य में CBDC के कैश की जगह लेने की संभावना है। इसके पीछे का कारण इन बड़े-बड़े देशों में डिजीटल करंसी को तेजी से अपनाने के लिए किए जा रहे कार्य है। India, Switzerland और अन्य देश डिजीटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देना चाहते हैं, इसलिए CBDC को अपनाने के लिए ये सभी देश नए-नए इनोवेशन भी कर रहे हैं। 

130 देशों में से केवल 11 ने ही पूरी तरह से लॉन्च की डिजीटल करंसी 

Atlantic Council के अनुसार, ग्लोबल इकोनॉमी के 98% का प्रतिनिधित्व करने वाले 130 देश CBDC पर काम कर रहे हैं, जिसमें से केवल 11 ने ही पूरी तरह से डिजीटल करंसी लॉन्च की है। ऐसे में Mastercard के एक्सपर्ट Venkateswaran द्वारा किया गया दावा CBDC पर कई सवाल खड़े करता है और यह संकेत डेटा है कि भविष्य में ग्लोबल लेवल पर CBDC को पूरी तरह से अपनाना एक कठिन कार्य हो सकता है। 

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