सस्ता टोकन का दावा करें रिजर्व का प्रमाण

Crypto Exchanges को है कड़े नियमों को पूरा करने की आवश्यकता

महत्वपूर्ण बिंदु
  • हाई-प्रोफाइल केस के चलते फाइनेंशियल रेगुलेटर्स Crypto Exchanges पर निगरानी बड़ा रहे हैं और स्ट्रिक्ट रेगुलेटरी फ्रेमवर्क पर की आवश्यकता पर जोर दे रहे हैं।
  • बढ़ती नियामक जांच और प्रवर्तन कार्रवाइयों की वजह से Crypto एक्सचेंजो का लैंडस्कैप धीरे-धीरे बदल रहा है।
  • बड़ी हुई नियामक निगरानी का उद्देश्य निवेशकों की सुरक्षा करना, नियमों का अनुपालन करना और मनी लॉन्ड्रिंग जैसे फाइनेंशियल क्राइम्स को बढ़ने से रोकना है।
30-Dec-2023 By: Deeksha
Crypto Exchanges को

Crypto एक्सचेंजो को है ऑपरेशनल पॉलिसीज में परिवर्तन की आवश्यकता

वर्तमान लैंडस्कैप में फाइनेंशियल रेगुलेटर्स Crypto एक्सचेंजो पर अपनी पकड़ मजबूत कर रहे हैं, जिससे भविष्य की जटिलताओं को रोकने के लिए ऑपरेशनल पॉलिसीज में महत्वपूर्ण परिवर्तन की आवश्यकता हो रही है। ऐसे कई उदाहरण सामने आए हैं, जिनमें रेगुलेटरी बॉडीज ने सरकार द्वारा निर्धारित नियमों का अनुपालन ना करने पर Crypto एक्सचेंजो के खिलाफ दंडात्मक कदम उठाए हैं। इसके साथ ही यहां उद्देश्य स्पष्ट है कि सार्वजनिक धन की सुरक्षा की जाए और साथ ही सुरक्षा उपायों से किसी प्रकार का कोई समझौता ना किया जाए। 

हाल ही में एक हाई-प्रोफाइल केस जिसने पर्याप्त धन आकर्षित किया, वह था Binance के साथ SEC की भागीदारी। Binance के को-फाउंडर और Changpeng Zhao ने मनी लॉन्ड्रिंग ब्रीच को स्वीकार किया, जिससे अमेरिकी रेगुलेटरी अथॉरिटीज के साथ एक व्यापक समझौता हुआ। इस मामले ने Crypto एक्सचेंज के भीतर कड़े नियमों के पालन के लिए बढ़ी हुई जांच और अनिवार्यता को अंडरलाइन किया है। इसके अलावा भारतीय फाइनेंस अथॉरिटीज ने PML Act में उल्लिखित प्रावधानों का अनुपालन नहीं करने के लिए 9 विदेशी क्रिप्टो एक्सचेंजों को भी नोटिस भेजा है

क्या हम Crypto एक्सचेंजो के फ्री रन की समाप्ति की कर सकते हैं उम्मीद 

बढ़ती नियामक जांच और प्रवर्तन कार्रवाइयों की वजह से Crypto एक्सचेंजो का लैंडस्कैप धीरे-धीरे बदल रहा है। नियामक निवेशकों की सुरक्षा और सरकार द्वारा निर्देशित नियमों का अनुपालन सुनिश्चित करने वाले एक्सचेंजो के खिलाफ की गई कार्रवाई एक स्पष्ट संदेश देता है कि कड़े नियमों का पालन करना समझौते के योग्य नहीं है। हालांकि इसकी संभावना नहीं है कि Crypto एक्सचेंजो का अस्तित्व समाप्त हो जाएगा, लेकिन यह स्पष्ट है कि उन्हें कड़ी निगरानी का सामना करना पड़ेगा। इसके अलावा Crypto एक्सचेंजो को अपने संचालन में महत्वपूर्ण बदलाव करने की आवश्यकता भी होगी। अगर देखा जाए तो नियमों का अनुपालन करना सर्वोच्च प्राथमिकता बनता जा रहा है, जो कि लूज रूल्स के पिछले युग से दूर जाने का संकेत देता है। 

क्या उचित है फाइनेंशियल अथॉरिटीज का कड़ा रुख 

क्रिप्टो एक्सचेंजों के संबंध में फाइनेंशियल अथॉरिटीज द्वारा अपनाई जा रही सख्ती हाल ही की घटनाओं पर प्रकाश डालती है। बड़ी हुई नियामक निगरानी का उद्देश्य निवेशकों की सुरक्षा करना, नियमों का अनुपालन करना और मनी लॉन्ड्रिंग जैसे फाइनेंशियल क्राइम्स को बढ़ने से रोकना है। नॉन-कम्पलाइंश और ब्रीच के उदाहरण जैसे कि Binance के CEO से जुड़े मामले में उजागर किया गया है, जो कि ऐसे कड़े नियमों और सख्त उपायों को अंडरलाइन करता है। 

इन कार्रवाइयों का उद्देश्य सार्वजनिक धन की सुरक्षा करना और वित्तीय प्रणालियों की अखंडता को बनाए रखना है। हाल ही में Hong Kong ने अपनी जनता की सुविधा के लिए स्टेबलकॉइन रूल्स के साथ एक स्टेंडर्ड भी सेट किया है। इसी के साथ निवेशकों के लिए सिक्योर एनवायरनमेंट बनाने और नॉन-कम्पलाइंस एक्सचेंजों से जुड़े संभावित जोखिमों को रोकने के लिए यह एप्रोच आवश्यक है, जो कि काफी सख्त नजर आ सकती है। 

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